मृतक के शव के साथ प्रदर्शन करने पर 5 साल की जेल, शव लेने से मना नहीं कर पाएंगे परिजन
राजस्थान सरकार द्वारा मृतक के शव के सम्मान करने को लेकर एक बिल लाया गया है जिसे गुरुवार को विधानसभा में बहस के बाद पारित कर दिया गया।
डेथ बॉडी सम्मान बिल के अनुसार अब सावरा का विरोध प्रदर्शन करने पर एवं अंतिम संस्कार समय पर नहीं करने पर 2 साल से लेकर 5 साल की जेल हो सकती है एवं जुर्माना भी लगाया जा सकता है। वहीं इस कानून के मुताबिक अगर परिजन शव को लेने से मना करते हैं तो उन्हें भी 1 साल की सजा होगी।
बिल के मुताबिक अगर कोई नेता या गैर परिजन किसी डेड बॉडी का इस्तेमाल विरोध प्रदर्शन के लिए करेगा, तो उसे 5 साल तक का सजा का प्रावधान किया गया है।
इस कानून के मुताबिक अंतिम संस्कार में में देरी नहीं की जा सकेगी, जल्द से जल्द अंतिम संस्कार करना होगा एवं अंतिम संस्कार में देरी तभी की जा सकती है जब परिजन बाहर से आने वाले हो या पोस्टमार्टम करना हो।
नेता प्रतिपक्ष राजेंद्र राठौड़ ने कहा कि इस बिल में डेड बॉडी के साथ प्रदर्शन करने पर सजा का प्रावधान कर के आपातकाल के मीसा एवं डीआरआई जैसे कानूनों की याद दिला दी, राजेंद्र राठौड़ ने कहा कि जब भारी अन्याय होता है तब मजबूरन परिजन ऐसा करते हैं।
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वही शांति धारीवाल ने कहा कि लोगों की यह आदत बन गई है की डेड बॉडी को पटके रखो एवं नौकरी एवं करोड़ों रुपए की मांग करो यह प्रवृत्ति लगातार बढ़ रही है।